थर्ड पार्टी इंश्योरेंस क्या होता है ? इसके क्या फायदे हैं? | What is Third Party Insurance in Hindi
इंश्योरेंस आधुनिक युग के लोगों के लिए एक सुरक्षा कवच की भांती कार्य करता है। थर्ड पार्टी इंश्योरेंस किसी भी मनुष्य के लिए भविष्य में होने वाले एक्सीडेंट में होने वाले नुकसान की भरपाई करने में मददगार होता है। साथ ही यह कानून रूप से एक अनिवार्य कार्य है। बिना थर्ड पार्टी इंश्योरेंस के वाहन चलाते हुए पकड़े जाने पर 2000 रुपए तक जुर्माना साथ ही 3 साल तक की सजा का प्रावधान है। दूसरी ओर बार-बार लापरवाही बरतने पर, उक्त दोनों सजाएं एक साथ दी जा सकती है। पोस्ट के जरिए हमारे द्वारा थर्ड पार्टी बीमा क्या होता है? इसके क्या फायदे हैं और नियम क्या हैं? What is Third Party insurance? Meaning and rules in Hindi? के बारे में विस्तार पूर्वक बताया गया है। इसे समझने के लिए आप पोस्ट को शुरू से लेकर अंत तक ध्यान पूर्वक पढ़े।
थर्ड पार्टी इंश्योरेंस क्या होता है? What is Third Party Insurance
थर्ड पार्टी इंश्योरेंस, एक प्रकार की ऐसी बीमा पॉलिसी होती है, जो वाहन मालिक से किसी अन्य व्यक्ति के वाहन या शरीर या संपत्ति को नुकसान पहुंचने पर उस व्यक्ति को मुआवजा दिलवाने का कार्य करती है। इस प्रकार के नुकसान से बचाव और मुआवजा निर्धारण में जो अदालती प्रक्रिया वगैरह होती हैं, उनका भी बोझ आपकी बीमा पॉलिसी वाली कंपनी ही उठाती है। इसी कारण इस इंश्योरेंस को Third Party Liability भी कहते हैं। सरल शब्दों में कहा जाएं तो, थर्ड पार्टी इंश्योरेंस होने पर, कुल 4 प्रकार के नुकसानों का बोझ बीमा कंपनी द्वारा उठाने का वादा किया जाता है-
- किसी अन्य व्यक्ति के वाहन या उसमें लगे उपकरणों को हुआ नुकसान का मुआवजा
- किसी अन्य व्यक्ति की संपत्ति,घर, दीवार, या सामान को हुआ नुकसान का मुआवजा
- किसी अन्य व्यक्ति के शारीरिक अंग का खराब हो जाना या मृत्यु हाे जाने पर मुआवजा
- किसी अन्य व्यक्ति के लिए, मुआवजा निर्धारण में कानूनी/अदालती कार्रवाई का खर्च
इस बीमा का नाम थर्ड पार्टी इंश्योरेंस नाम क्यों?
- First party (प्रथम पक्ष): वह व्यक्ति होता है जिसने कि बीमा कंपनी से पॉलिसी खरीद रखी है। मतलब यह कि पॉलिसीधारक व्यक्ति (Policyholder) ही First Party होता है।
- Second-party (द्वितीय पक्ष): वह बीमा कंपनी होती है, जिससे कि वाहन बीमा पॉलिसी खरीदी जाती है।
- Third-party (तृतीय पक्ष): वह व्यक्ति होता है, जिसे पॉलिसीधारक (first Party) के वाहन से नुकसान पहुंचा है।
थर्ड पार्टी इंश्योरेंस के साथ अनिवार्य दुर्घटना बीमा भी जरूरी
भारत के शीर्ष सुप्रीम कोर्ट के आदेशानुसार, किसी भी प्रकार के वाहन बीमा के साथ में 15 लाख रुपए का अनिवार्य व्यक्तिगत दुर्घटना बीमा (Compulsory Personal Accidental Insurance) भी लेना अनिवार्य है। फिर चाहे वाहन मालिक के द्वारा थर्ड पार्टी इंश्योरेंस ले रखा हो या कंप्रिहेंसिव इंश्योरेंस, हर तरह की पॉलिसी के साथ में इसे रखना अनिवार्य है।
इससे आपके (बीमाधारक) को स्वयं के शरीर को नुकसान पहुंचने पर या जान जाने पर 7.5 लाख से लेकर 15 लाख रुपए तक का मुआवजा बीमा कंपनी द्वारा दिया जाता है। मुआवजा कितना मिलेगा, यह आपके शरीर को हुए नुकसान के स्तर के हिसाब से तय होता है। जैसे कि-
बीमा प्लान खरीदने वाले की मृत्यु हाेने पर | 100% यानी 15 लाख रुपए मिलेगा |
दोनो हाथ या दोनो पैर या दोनों आंखें खराब होने पर | 100% यानी 15 लाख रुपए मिलेगा |
सिर्फ एक हाथ या एक पैर या एक आंख खऱाब होने पर | 50% यानी 7.15 लाख रुपए मिलेगा |
एक हाथ या एक पैर के साथ एक आंख भी खराब होने पर | 100% यानी 15 लाख रुपए मिलेगा |
किसी अन्य प्रकार की चोट से पूर्ण विकलांग हो जाने पर | 100% यानी 15 लाख रुपए मिलेगा |
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थर्ड पार्टी इंश्योरेंस में किस-किस तरह के नुकसान को शामिल नहीं किया जाता
निम्नलिखित प्रकार के नुकसान Third Party Insurance के तहत कवर नहीं होते हैं—
- किसी हादसे में, आपके खुद के वाहन को हुए नुकसान की भरपाई नहीं की जाती
- आपका वाहन चोरी जाने या नष्ट किए जाने पर भी कोई मुआवजा नहीं पा सकते
- आपके वाहन के कारण आपको आई चोटों पर भी कोई मुआवजा नहीं मिलता
नई कार के लिए 3 साल और नई बाइक के लिए 5 साल का बीमा अनिवार्य
सितंबर 2018 से सुप्रीम कोर्ट ने सभी नए दोपहिया वाहनों (Two Wheeler) के लिए 5 साल का Third Party Insurance अनिवार्य कर दिया है। कार, चारपहिया वाहनों और अन्य व्यावसायिक वाहनों (Commercial Vehicles) के लिए कम से कम 3 साल का Third Party Insurance करवाना अनिवार्य है।
कंप्रिहेंसिव इंश्योरेंस लेने पर अवधि में छूट: अगर आप कंप्रिहेंसिव इंश्योरेंस करवाते हैं तो फिर दोपहिया का सिर्फ 3 साल का इंश्योरेंस करवा सकते हैं। चूंकि, कंप्रिहेंसिव इंश्योरेंस में आपकी खुद की गाड़ी को नुकसान का भी मुआवजा बीमा कंपनी देती है, और इसमें थर्ड पार्टी इंश्योरेंस के फायदे भी ऑटोमैटिक शामिल रहते हैं।
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थर्ड पार्टी इंश्योरेंस कहां होता है?
दोस्तों जब भी आप बाजार से कोई नया वाहन जैसे – कार या बाइक खरीदते हैं, तो सामान्य तौर पर गाड़ी के शोरूम वाले ही आपके वाहन का बीमा करवा देते हैं। अधिकांश वाहन बिक्रेताओं का किसी न किसी जनरल इंश्योरेंस कंपनी से गठबंधन रहता है और बीमा कंपनी के एजेंट वहीं पर बीमा करने के लिए उपलब्ध रहते हैं। ऐसी कुछ बीमा कंपनियों के नाम हैं-
- ICICI Lombard Insurance Company
- SBI General Insurance Company
- HDFC ERGO Insurance Company
- IFFCO-TOKIO General Company
- Reliance General Insurance Company
बीमा कंपनी के ऑफिस में या बीमा एजेंट की मदद से: बीमा कंपनियां शहरों में अपने कार्यालय या बीमा एजेंट रखती है। आप वहां जाकर अपने लिए वाहन बीमा प्लान खरीद सकते हैं। कई लोग अपने घर से या कार्यालय बनाकर भी बीमा एजेंट का काम करते हैं। उनकी मदद से भी यह काम हो सकता है। लेकिन, ध्यान रखें कि विश्वसनीय व्यक्ति से ही पॉलिसी खरीदें।
ऑनलाइन भी करवा सकते हैं वाहन बीमा: आप अपने कंम्प्यूटर या मोबाइल की मदद से घर बैठे ऑनलाइन बीमा पॉलिसी भी खरीद सकते हैं। किसी भी जनरल इंश्योरेंस कंपनी की वेबसाइट को खोलेंगे तो उस पर ऑनलाइन बीमा खरीदने का लिंक आपको मिल जाएगा। इसी तरह कई बीमा एग्रीगेटर भी आपको अलग-अलग बीमा कंपनियों के प्लान की तुलना करने और खरीदने की सुविधा देते हैं। जैसे कि PolicyBazaar.com, PolicyX.Com, Coverfox.com वगैरह।
ऑनलाइन रिन्यू भी करा सकते हैं, कंपनी भी बदल सकते हैं: पुराने वाहन बीमा का नवीनीकरण (Renewal) की प्रक्रिया भी, नए वाहन बीमा की तरह ही होती है। इसके लिए भी आप चाहें तो सीधे Insurance Company की वेबसाइट का उपयोग कर सकते हैं। या फिर, Insurance Aggregator की वेबसाइट पर जाकर बीमा खरीद सकते हैं। बीमा रिन्यू कराते समय, चाहें तो बीमा कंपनी बदल भी सकते हैं।
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