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रेल यात्री के बैग में मिला इतना कैश कि पुलिस की आंखें फटी रह गईं, बनारस से जा रहा था कोलकता

पीडीडीयू जंक्शन पर जीआरपी और आरपीएफ की टीम को बड़ी कामयाबी मिली। प्लेटफॉर्म पर चेकिंग के दौरान एक युवक को हिरासत में लिया। उसके पास से 43.45 लाख की नकदी बरामद हुई। उक्त युवक इतनी भारी रकम के संबंध में कोई कागजात नहीं दिखा सका।

पीडीडीयू जंक्शन पर जीआरपी (राजकीय रेलवे पुलिस) और आरपीएफ (रेलवे सुरक्षा बल) की संयुक्त टीम को बड़ी सफलता हाथ लगी है। टीम ने पश्चिम बंगाल निवासी युवक के पिट्ठू बैग से इतना कैश बरामद किया कि पुलिस की आंखें फटी रह गईं। बैग में 43.45 लाख रुपये थे। ट्रेन में चढ़ने से पहले गुरुवार को युवक को पकड़ा गया। इतनी बड़ी रकम मिलने की सूचना आयकर विभाग को दी गई।

बरामद रुपये और आरोपी को जीआरपी ने आयकर विभाग की टीम के हवाले कर दिया। युवक रुपये लेकर वाराणसी से कोलकाता जा रहा था। शुक्रवार को जीआरपी के पुलिस उपाधीक्षक कुंवर प्रभात सिंह ने बताया कि अपराधियों की धड़ पकड़ के लिए पीडीडीयू नगर रेलवे स्टेशन पर नियमित गश्त की जा रही है।

प्लेटफॉर्म पर ट्रेन का इंतजार कर रहा था युवक

गुरुवार सुबह जीआरपी प्रभारी निरीक्षक सुरेश कुमार सिंह और आरपीएफ निरीक्षक संजीव कुमार के नेतृत्व में संयुक्त टीम स्टेशन पर गश्त कर रही थी। सुबह साढ़े पांच बजे टीम प्लेटफार्म संख्या एक और दो के फुटओवर ब्रिज के सीढियों के पास पहुंची तो एक संदिग्ध व्यक्ति दिखा। उसे पकड़ कर उसके पिट्ठू बैग की तलाशी ली गई तो रुपयों की गड्डी दिखी।

उसे पकड़ कर कोतवाली में लाकर जब रुपयों की गिनती की गई तो 43 लाख 45 हजार रुपये बरामद हुए। उक्त युवक इतनी भारी रकम के संबंध में कोई कागजात नहीं दिखा सका। पूछताछ में युवक ने अपना नाम बुधन दोलाई निवासी नरायनपुर महाराजपुर थाना घटाल, पश्चिमी मेदिनीपुर पश्चिम बंगाल बताया। सीओ कुंवर प्रभात सिंह ने बताया कि बुधन दोलाई सोने-चांदी के आभूषण का कारीगर है। इसी का पैसा वाराणसी से लेकर वह जा रहा था।

बताया कि इसकी सूचना वाराणसी आयकर विभाग को दी गई लेकिन गुरुवार को टीम बाहर गई थी। शुक्रवार को टीम के आने पर बरामद रुपये और आरोपी को उनके हवाले कर दिया गया है। आगे की कार्रवाई आयकर विभाग करेगी। इससे पहले 25 मई को भी 53.68 लाख रुपये के साथ एक युवक को पकड़ा गया था।

KAMLESH VERMA

दैनिक भास्कर और पत्रिका जैसे राष्ट्रीय अखबार में बतौर रिपोर्टर सात वर्ष का अनुभव रखने वाले कमलेश वर्मा बिहार से ताल्लुक रखते हैं. बातें करने और लिखने के शौक़ीन कमलेश ने विक्रम विश्वविद्यालय उज्जैन से अपना ग्रेजुएशन और दिल्ली विश्वविद्यालय से मास्टर्स किया है. कमलेश वर्तमान में साऊदी अरब से लौटे हैं। खाड़ी देश से संबंधित मदद के लिए इनसे संपर्क किया जा सकता हैं।

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